इंचार्ज समेत तीन शिक्षिका निलंबित: आयोग सदस्य के निरीक्षण में इंचार्ज शिक्षिका की पाई गई थी मनमर्जी
उन्नाव। संवाददाता बिछिया के टीकर गढ़ी उच्च प्राथमिक विद्यालय में इंचार्ज समेत तीन शिक्षिका को बेसिक शिक्षा अधिकारी ने निलंबित कर दिया। स्कूल में लंबे समय से तमाम तरह की अनियमितताएं बरती जा रही थी। बच्चों के एमडीएम से लेकर खेलकूद, कम उपस्थिति, मन माफिक अवकाश जैसे तमाम व्यवस्थाओं और सुविधाओं में हो रही मनमानी पर जांच के बाद बीएसए ने कार्रवाई करने का दावा किया।
बुधवार को तमाम बिंदुओं पर की गई जांच के बाद बीएसए संगीता सिंह ने विद्यालय की अलका सिंह इंचार्ज प्रधानाध्यापक, मंजू यादव सहायक अध्यापक व अमिता शुक्ला सहायक अध्यापक को निलंबित कर दिया है। निलंबन आदेश में बीएसए ने बताया की संबंधित विद्यालय की तीनों शिक्षिकाओं के माध्यम से प्रस्तुत शिकायती प्रार्थना की जांच खण्ड शिक्षा अधिकारी नवाबगंज को दी गई थी। जांच अधिकारी ने 28 अगस्त 2024 को उच्च प्राथमिक विद्यालय टीकरगढ़ी उच्च प्राथमिक विद्यालय का स्थलीय निरीक्षण किया गया।
जांच आख्यानुसार अल्का सिंह इंचार्ज प्रधानाध्यापक द्वारा अपने पदीय दायित्वों का निर्वहन नहीं करने, कक्षा आवर्तन नहीं किये जाने, समय सारिणी का प्रयोग नही किये जाने, अध्ययनरत् छात्रों का शैक्षिक अधिगम स्तर सन्तोषजनक नही पाये जाने, जांच के समय विद्यालय में मध्यान्ह भोजन संचालित नही होने, छात्र उपस्थिति बढाये जाने हेतु कोई प्रयास नही करने, शिक्षण कार्य में रुचि नही लिये जाने,
विद्यालय प्रबन्ध व्यवस्था के प्रति उदासीन होने विद्यालय का शैक्षिक व भौतिक परिवेश दूषित करने, प्रायः अवकाशों पर रहने, विभाग की छवि धूमिल करने सम्बन्धी आख्या प्राप्त करायी गयी है। प्रस्तुत आख्या द्वारा जिला समन्वयक एमडीएम को मध्यान्ह भोजन की जांच हेतु नामित करते हुये प्रकरण विषयक आख्या उपलब्ध कराये जाने के निर्देश प्रदान किये गये।
जिला समन्वयक ने आख्या में अल्का सिंह इंचार्ज प्रधानाध्यापक, मंजू यादव सहायक अध्यापक द्वारा अपने पदीय दायित्वों का निर्वहन नही करने, मध्यान्ह भोजन योजना प्रभावित करने, उप्र बेसिक शिक्षा परिषद कर्मचारी वर्ग नियमावली का उल्लंघन करने, सम्बन्धी आख्या प्राप्त करायी गयी है। प्रमाण सहित बीएसए को उपलब्ध कराई गई जांच रिपोर्ट के बाद अल्का सिंह को प्रथम दृष्टया आरोपी पाये जाने के प्रति अनुशासनिक कार्यवाही के अन्तर्गत निलम्बित करते हुये ये आरोप अधिरोपित किये है।
आयोग सदस्य के निरीक्षण में इंचार्ज शिक्षिका की पाई गई थी मनमर्जी
यहां तैनात इंचार्ज शिक्षिका पर अवकाश से लेकर विद्यालय रख-रखाव व बच्चों के एमडीएम, वर्दी आदि के साथ हर जगह मनमर्जी किए जाने का आरोप लग रहे है। ग्रामीणों व प्रधान के द्वारा लगाए गए आरोपों की हकीकत भी तब सामने आ गई जब शनिवार को विद्यालय में राज्य बाल संरक्षण आयोग के सदस्य श्याम त्रिपाठी विद्यालय में अंधेरगर्दी की मिली शासन तक मिली शिकायत के बाद जांच को पहुंच गए। श्याम त्रिपाठी ने बताया कि उनको विद्यालय इंचाज शिक्षिका द्वारा लिए गए अवकाशों में अनियमितता, बच्चाें को एमडीएम न खिलाकर 15 कुंतल सड़ा दिए जाने, बच्चों का पंजीयन विद्यालय में लगातार गिरने जैसे आरोप सही मिले।